उत्तर प्रदेश

वाराणसी: कचहरी में दारोगा की पिटाई विवाद ने पकड़ा तूल, महिला IPS और वकीलों के बीच जमकर नोकझोंक।

वाराणसी: कचहरी में दारोगा की पिटाई विवाद ने पकड़ा तूल, महिला IPS और वकीलों के बीच जमकर नोकझोंक

वाराणसी।कचहरी परिसर में दारोगा की पिटाई का मामला अब नया मोड़ ले चुका है। इस घटना ने सिर्फ पुलिस और वकीलों के बीच तनाव को ही नहीं बढ़ाया, बल्कि अब इसमें एक महिला आईपीएस अधिकारी भी सीधे तौर पर विवादों में आ गई हैं। शुक्रवार को वकीलों और महिला आईपीएस अधिकारी के बीच तीखी नोकझोंक हो गई, जिससे माहौल और गरमा गया।

विवाद की शुरुआत कैसे हुई

जानकारी के मुताबिक कुछ वकील अपने मुवक्किल के साथ सीपी (पुलिस आयुक्त) कार्यालय पहुंचे थे। इसी दौरान उनकी मुलाकात महिला आईपीएस अधिकारी से हुई। यहां किसी बात को लेकर दोनों पक्षों के बीच कहासुनी हो गई, जो धीरे-धीरे गंभीर विवाद में बदल गई। वकीलों ने आरोप लगाया कि महिला आईपीएस ने उनके साथ बदसलूकी की।

वकीलों का आरोप और नाराजगी

वकीलों का कहना है कि दारोगा की पिटाई के मामले में पुलिस पक्षपातपूर्ण रवैया अपना रही है। इसीलिए वे अपने मुवक्किल के साथ पुलिस आयुक्त कार्यालय पहुंचे थे ताकि मामले को सामने रखा जा सके। लेकिन महिला आईपीएस के व्यवहार से वे नाराज हो गए। उन्होंने आरोप लगाया कि अधिकारी ने वकीलों की बात सुनने के बजाय उनके साथ अभद्रता की।

महिला IPS का पक्ष

हालांकि, पुलिस सूत्रों के मुताबिक महिला आईपीएस का कहना है कि वकीलों ने दफ्तर के माहौल को खराब करने की कोशिश की और अनावश्यक दबाव बनाने लगे। अधिकारी का कहना है कि उन्होंने केवल अपनी ड्यूटी निभाई और कानून-व्यवस्था बनाए रखने के लिए आवश्यक कदम उठाए।

बढ़ता तनाव और जांच की मांग

इस घटना के बाद वकीलों में गुस्सा देखने को मिला। उन्होंने बैठक कर इस पूरे मामले की निष्पक्ष जांच की मांग की है। कई वकीलों ने चेतावनी दी है कि अगर आरोपों की जांच नहीं हुई तो वे आंदोलन का रास्ता अपना सकते हैं।

प्रशासन पर दबाव

दारोगा की पिटाई के बाद से पुलिस और वकीलों के रिश्ते लगातार तनावपूर्ण होते जा रहे हैं। अब महिला आईपीएस पर लगे आरोपों ने स्थिति को और जटिल बना दिया है। प्रशासन के सामने चुनौती है कि वह दोनों पक्षों के बीच संतुलन बनाए और माहौल को बिगड़ने से रोके।

 

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